नगर निगम के मेयर के विरुद्ध धोखाधड़ी का मामला दर्ज
गिरिडीह ,राजेश कुमार : नगर निगम के मेयर सुनील पासवान के खिलाफ धोखाधड़ी का मामला दर्ज किया गया है।
मेयर के खिलाफ सदर अंचल के सीओ रविन्द्र सिन्हा ने मुफस्सिल थाना में केस दर्ज कराया है। सर्किल ऑफिसर रविन्द्र के आवेदन के आधार पर पुलिस थाना कांड संख्या 58/20 में धारा 420, 465 और 466 के तहत केस दर्ज कर मामले की जांच में जुट गयी है।
विदित हो कि नगर निगम चुनाव के नामांकन पत्रों की स्क्रूटनी के दौरान मेयर उम्मीदवार सुनील पासवान
के जाति प्रमाण पत्र फर्जी होने का मामला झामुमो जिलाध्यक्ष संजय सिंह ने ही उठाया था। उन्होंने निगम के मेयर प्रत्याशियों की स्क्रुटनी से एक दिन पहले मेयर प्रत्याशी सुनील पासवान के जाति प्रमाण पत्र को गलत ठहराते हुए निर्वाची पदाधिकारी को लिखित शिकायत देकर सुनील कुमार पासवान को बिहार राज्य के अरवल जिले के मूल निवासी बताया था।
जबकि नियमानुसार झारखंड में अनुसूचित जाति प्रमाण पत्र लेने के लिए 1950 के पूर्व से यहां का स्थायी निवासी होना चाहिए। लेकिन सुनील 1965 के बाद से गिरिडीह में रह रहे हैं। ऐसे में उनका जाति प्रमाण पत्र नहीं बन सकता। इसकी शिकायत उन्होंने न केवल महापौर के निर्वाची पदाधिकारी से की थी। बल्कि जिला निर्वाचन पदाधिकारी और राज्य निर्वाचन आयोग को भी पत्र लिखा था। साथ ही अल्टीमेटम दिया था कि यदि प्रमाण पत्र जांच करा कर भाजपा प्रत्याशी का नामांकन रद्द नहीं किया गया तो वे कोर्ट का रास्ता अपनाएंगे। दूसरी और राज्य निर्वाचन आयोग से लेकर केंद्रीय निर्वाचन आयोग तक भी पहुंचेंगे।
लेकिन उस वक्त झारखंड में भाजपा की सरकार थी। नतीजतन यह आवाज नक्कार खाने की तूती बन कर रह गयी थी। लेकिन अब परिस्थिति बदल चुकी है। न केवल राज्य में झामुमो की सरकार है, बल्कि गिरिडीह में भी झामुमो के विधायक हैं।
गौरतलब है कि आदिवासी कल्याण आयुक्त झारखंड रांची के ज्ञापांक 796/ दिनांक 31.05.2019 द्वारा जाति छानबीन समिति झारखंड के निर्णय के बाद गिरिडीह सीओ ने सुनील पासवान मोहल्ला शीतलपुर सिरसिया गिरिडीह के नाम से निर्गत अनुसूचित जाति प्रमाण पत्र को रद्द कर दिया था। अपर मुख्य सचिव कार्मिक प्रशासनिक सुधार तथा राजभाषा विभाग झारखंड रांची का पत्रांक 1754 दिनांक 25.02.2019 के कंडिका 19 के में प्रदत्त अधिकार के तहत अंचलाधिकारी ने जाति प्रमाण पत्र को अवैध करार दिया था।
बाबजूद इसके निर्वाची पदाधिकारी सह डीडीसी मुंकुंद दास ने उनकी उम्मीदवारी को योग्य करार दिया था।
उधर निर्वाचन आयोग ने भी फर्जी जाति प्रमाण की प्रामाणिकता के आधार पर गिरिडीह नगर निगम के मेयर सुनील पासवान के निर्वाचन को रद्द कर दिया और इस मामले में अब अंतिम फैसला राज्य सरकार को लेने को कहा है। जिसके आलोक में उनके विरुद्ध यह मुकदमा दर्ज कराया गया है।
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