गिरिडीह : राजद के कद्दावर नेता सह समाज सेवी स्वर्गीय कैलाश यादव की प्रथम पुण्यतिथि बुधवार को जिले के बेंगाबाद थाना क्षेत्र के मोती लेदा गांव में समारोह पूर्वक मनाया गया। इस दौरान गांव में उनकी प्रतिमा का भी अनावरण किया गया।
राष्ट्रीय यादव सेना द्वारा आयोजित इस प्रतिमा अनावरण सह श्रद्धांजलि समारोह में न केवल स्वजातीय समाज के लोग बल्कि विभिन्न समाज के लोग और विभिन्न राजनीतिक दलों के नेतागण शामिल हुये और उनके प्रतिमा पर माल्यार्पण कर उंन्हे भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित किया।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बरही के पूर्व विधायक मनोज यादव, गोडडा के पूर्व विधायक संजय यादव, धनवार के पूर्व विधायक राजकुमार यादव, कोडरमा सांसद प्रतिनिधि दिनेश यादव, भाकपा माले नेता राजेश यादव एवं राजेश सिन्हा मुख्य रूप से उपस्थित थे। कार्यक्रम की अध्यक्षता मोतीलेदा पंचायत के मुखिया रामकुमार वर्मा एवं संचालन धर्मेंद्र यादव ने किया। जबकि आगत अतिथियों का स्वागत भाजपा नेता सह पूर्व जिप उपाध्यक्ष छोटे लाल यादव ने किया।
गौरतलब है कि स्वर्गीय कैलाश यादव की एक वर्ष पूर्व 25 अगस्त को अपराधियों ने पीट-पीट कर हत्या कर दी थी। स्वर्गीय यादव क्षेत्र में वयाप्त जाति विशेष की दबंगई के खिलाफ बेंगाबाद थाने में अर्जी देकर अपनी बाइक से गांव लौट रहे थे। तभी पूर्व से घात लगाये दबंगों ने उन पर हमला बोल दिया था। जिसमे कैलाश यादव की मौत हो गई थी जबकि उनके साथ बाइक पर सवार इंद्र लाल वर्मा गम्भीर रूप से घायल हो गये थे।
इस घटना के बाद पूरे जिले में गांव से लेकर शहर तक हर वर्ग के लोगों ने आक्रोश वयाप्त हो गया था। सर्व समाज के लोगों ने हत्या के मुख्य आरोपी की गिरफ्तारी हेतु आवाज बुलंद किया था। लेकिन एक वर्ष बीत जाने के बाद भी पुलिस मुख्य हत्यारे को गिरफ्तार कर पाने में नाकामयाब रही है। यधपि राष्ट्रीय यादव सेना की अगुवाई में यादव समाज के लोग अपराधियों की गिरफ्तारी को लेकर लगातार आंदोलन जारी रखा हुआ है। इसी आंदोलन को गति देने के लिए स्वर्गीय कैलाश यादव के पहली पुण्यतिथि पर उनके प्रतिमा का अनावरण किया गया साथ ही साथ उन्हें श्रद्धांजलि दी गई।
कार्यक्रम में झारखंड सरकार में मंत्री रहे सुरेश पासवान, बगोदर के पूर्व विधायक नागेन्द्र महतो, भाजपा युवा मोर्चा की प्रदेश अध्यक्ष प्रो बिनीता कुमारी, सांसद प्रतिनिधि महेंद्र यादव, सुरेंद्र यादव,ओम प्रकाश यादव, सरयू प्रसाद वर्मा, बाली यादव, वासुदेव यादव, रामजी यादव, राजेंद्र यादव, किशन यादव समेत काफी संख्या में महिलाएं व अन्य समाज के कई प्रबुद्ध लोग शामिल थे।
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