बुधवार, 1 अप्रैल 2020

नगर निगम की उदासीनता, गिरिडीह वासियों के लिये बनी दुखदायी, नसीब नही हो रही पानी

नगर निगम की उदासीनता, गिरिडीह वासियों के लिये बनी दुखदायी


गिरिडीह :  गिरिडीह के नगर निगम की उदासीनता और मनमानी पूर्व रवैये ने निगम क्षेत्र के लोगों को काफी परेशान कर दिया है। बुधवार को महाष्टमी का त्यौहार होने के बाद भी निगम द्वारा निगम क्षेत्र में लगाये गये नलों से पानी का एक बूंद भी नहीं नसीब हुआ। जिससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। 

वैसे चैती छठ महापर्व के दौरान भी यही स्थिति थी। नल से पानी का सप्लाई नही होने से व्रतियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा।  सर्वाधिक भयावह स्थिति वार्ड नम्बर 27 के बाभनटोली इलाके में हो रही है। इस इलाके में बीते लगभग एक सप्ताह से लोग पेयजल के लिये त्रस्त हैं। लेकिन निगम को इसकी तनिक चिंता नही। निगम को सिर्फ नल के कनेक्शन का सिर्फ मासिक किराया चाहिये।

विदित हो कि जब से गिरिडीह निगम क्षेत्र बना है यहां समस्याओं का अम्बार ही लगा है। सुविधा नाम की कोई चीज नहीं है। नाली गन्दे हैं। कचड़ों का अंबार है। लेकिन किसी को परवाह नही। वार्ड पार्षद भी चैन की बंसी बजा रहे हैं। निगम प्रशासन तो कुम्भकर्णी निंद्रा में सोई है।
एक तरफ पूरा देश कोरोना जैसे महामारी से त्रस्त है। ऐसे समय मे निगम द्वारा निगम क्षेत्र के घरों में बिलीचिंग युक्त पानी अथवा सैनिटाइजर का छिड़काव करना चाहिये था। लेकिन यंहा की निगम प्रशासन को भला निगम क्षेत्र के लोगों से क्या लेना देना। उन्हें तो सिर्फ टैक्स वसूली की फिकर रहती है। "जनता जाये भांड में"।

अभी गर्मी शुरू भी नही हुई है और पानी की समस्या अपना मुंह बाए खड़ी हो गयी है। निगम प्रशासन यदि नही जागा तो शहरी क्षेत्र में यह समस्या विकराल रूप धारण कर लेगी। तब लोगों का सब्र भी टूट जायेगा और लोग पानी के लिये आंदोलन तक को बाध्य होंगे।

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