गुरुवार, 28 मई 2020

मनरेगा से स्वीकृत डोभा निर्माण की राशि निकाली गयी, लेकिन नही बना डोभा

मनरेगा से स्वीकृत डोभा निर्माण की राशि निकाली गयी, लेकिन नही बना डोभा
जमुआ/ गिरिडीह  : जिले के जमुआ प्रखंड अंतर्गत धुरैता पंचायत के शहरजाम में मनरेगा से स्वीकृत डोभा में 59 हजार की निकासी के बाद भी स्थल पर कुछ काम नहीं हुआ है। वर्ष 2019 में शहरजाम में जिबलाल यादव की जमीन पर डोभा निर्माण स्वीकृत हुआ था, जिसकी योजना संख्या 527 है। चयनित स्थल पर डोभा के लिए बोर्ड बनाकर जियो टैग किया गया था। उसके बाद उस जमीन पर डोभा निर्माण किया ही नहीं गया। बोर्ड भी किसी ने तोड़ दिया। 

खुलासा तब हुआ जब जिबलाल यादव की पत्नी के खाते में 17 मई 2020 को 2057 रुपये आए। रुपये खाते में आने के बाद यादव ने पत्नी धनेश्वरी देवी के खाते को खंगाला। इस दौरान पता चला कि मनरेगा के रुपये आए हैं। ज्ञात हुआ कि डोभा निर्माण की राशि मजदूरी के रूप में उसकी पत्नी के खाते में आई है। मजदूरों का मस्टर रोल की कॉपी निकाली गई तो उसमे कई मजदूरों के साथ उसकी पत्नी का भी नाम था। डोभा स्थल पर देखने गया वहां एक टूटा हुआ बोर्ड मिला। इसे लेकर यादव ने मनरेगा कार्यालय में 20 मई को आवेदन देकर जांच की मांग की है।

मनरेगा के बीपीओ हीरा महतो ने कहा कि चयनित जियो टैग स्थल पर कार्य नहीं कराया गया है। इसकी जांच की जा रही है। एक सप्ताह का समय लाभुक को दिया गया है। यदि पुन: जियो टैग स्थल पर कार्य नहीं हुआ तो राशि की वसूली की जाएगी। मुखिया तूफानी सिंह ने कहा कि मेठ ने काम नहीं कराया तो उस पर कार्रवाई होगी। कहा कि सिर्फ स्थल बदल दिया गया है कार्य हुआ है।

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